नमस्कार दोस्तों Kadambini Ganguly Biography In Hindi में आपका स्वागत है। आज हम भारत की पहली महिला स्नातक और पहली महिला फ़िजीशियन कादंबिनी गांगुली का जीवन परिचय बताने वाले है। कादम्बिनी गांगुली पहली भारतीय महिला डॉक्टर थी। उनका का जन्म 18 जुलाई 1861 को भागलपुर, बिहार, भारत में हुआ था। उसके पिता का नाम ब्रज किशोर बसु था। कादंबिनी ने 21 साल की उम्र में 39 वर्षीय विधुर द्वारकानाथ गांगुली से शादी की थी।
जब भारत देश पर ब्रिटिश साम्राज्य का कब्ज़ा था। उस समय कादंबिनी गांगुली पहली महिला थी। जिन्होंने चिकित्सक की पढ़ाई कर डिग्री हासिल की थी। वह पूरे दक्षिण एशिया में पहली महिला चिकित्सक बनी थी। उनकी मौत दिन एक ऑपरेशन करने के बाद 3 अक्टूबर 1923 को हुई थी। आज हम कादंबिनी गांगुली बायोग्राफी में India’s First Women Graduates & Doctors की Wiki, Photos, Bio, Height, Age, Career, Mother, Family और Father की जानकारी बताते है।
Kadambini Ganguly Biography In Hindi
Real Name (पूरा नाम) | कादंबिनी गांगुली ( Kadambini Ganguly ) |
Nick name (उपनाम) | कादंबिनी गांगुली |
Date of birth (जन्म तिथि) | 18 July 1861 |
Birth Place (जन्मस्थान) | भागलपुर, बिहार, भारत |
Cast (जाती) | ब्राह्मण |
Religion (धर्म) | हिन्दू धर्म |
Age (उम्र) | मौत के समय आयु 62 वर्ष |
Zodiac Sign (राशि) | मिथुन राशि |
Profession (पेशा) | डॉक्टर |
Famous Role (प्रसिद्ध पात्र) | भारत की पहली महिला स्नातक और फ़िजीशियन |
Hometown (पता) | भागलपुर, बिहार, भारत |
Nationality (राष्ट्रीयता) | भारतीय |
Birth & Education
कादंबिनी गांगुली का जन्म 18 जुलाई 1861 को भारत के बिहार राज्य के भागलपुर में हुआ था। कादम्बिनी जी ने अपनी शुरुआती शिक्षा बंगा महिला विद्यालय में प्राप्त की थी। उसके बाद 1878 में बेथ्यून स्कूल कलकत्ता विश्वविद्यालय की प्रवेश परीक्षा पास कर उसमे पढाई करते हुए बीए की परीक्षा पास की थी। बीए की परीक्षा पास कर पहली भारतीय महिला बने जिन्होंने विश्वविद्यालय से स्नातक की परीक्षा पास की थी।
23 जून 1983 को मेडिकल कॉलेज में दाखिला ले लिया और पढ़ाई में अच्छी होने से उन्हें मेडिकल कॉलेज में दो साल 20 रूपये की छात्रवृत्ति प्राप्त हुई थी। 1993 में कादंबिनी गांगुली स्कॉटलैंड (उस समय वहह ब्रिटैन की कब्जे में था) के शहर एडिनबर्ग गए और एडिनबर्ग कॉलेज ऑफ़ मेडिसिन फॉर विमेन में प्रवेश लिया था। वहाँ उन्होने बहुत कम समय में 3 डिप्लोमे की डिग्री हासिल की थी। उसमे LRCP (एडिनबर्ग), LRCS (ग्लासगो) और GFPS शामिल थी।

इसके बारेमे भी पढ़िए :- फैशन डिजाइनर नंदिता महतानी का जीवन परिचय
Kadambini Ganguly Family
कादंबिनी गांगुली के पिता का नाम बृज किशोर बासु था। उसकी माता का नाम ज्ञात नहीं है। मगर 21 साल की उम्र में कादम्बिनी जी ने 39 साल के द्वारकानाथ गांगुली नाम के एक विधुर के साथ शादी कर ली थी। उनके पति देव भी ब्रह्मो समाज से तारलुक रखते थे। वास्तव में उनके पति का पहले भी एक विवाह हो चुका था। उसके पहले से पांच बच्चे थे। यानि कादम्बिनी उनकी दूसरी पत्नी थी।
कादम्बिनी देवी के अपने भी तीन बच्चे थे। यानि कुल मिलाकर उन्होने आठ बच्चों का पालन पोषण किया था। आठ बच्चों की माँ के रूप में उन्हें घर में भी ज्यादा समय देना पड़ा था। वह घरेलू कामों में निपुण थी। कादम्बिनी गांगुली अपने समय की सबसे कुशल और मुक्त ब्रह्मो महिला थी। वह सबके साथ पारस्परिक प्रेम, संवेदनशील और बेहद असामान्य थे।
Father Name (पिता) | बृज किशोर बासु |
Mother Name (माता) | – |
Sister (बहन) | – |
Brother (भाई ) | – |
Marital status/(विवाहित स्थिति ) | विवाहित |
Marriage date (विवाह तिथि) | – |
Husband/Boyfriend (पति) | द्वारकानाथ गांगुली |
Children (बच्चे) | आठ बच्चे |

इसके बारेमे भी पढ़िए :- अभिनेत्री डोनल बिष्ट का जीवन परिचय
Kadambini Ganguly Career
कादंबिनी गांगुली का संघर्ष
अपने क्रांतिकारी विचार के कारन उन्होंने कई सामाजिक आंदोलनों में सहयोग दिया था। पूर्वी भारत में महिला कोयला खनिकों की स्थिति में सुधार की मांग करने वाली लड़ाई में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा था। वह वें सत्र में भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस की पहली महिला प्रतिनिधिमंडल का भी हिस्सा थीं। 1906 में बंगाल विभाजन ने देश को विभाजित किया तो कादम्बिनी ने एकजुटता के लिए कलकत्ता में महिला सम्मेलन का आयोजन किया था। 1908 में उसके अध्यक्ष के रूप में कार्य किया था।
श्रमिकों का समर्थन करने के लिए धन जुटाने के लिए लोगों को जुटाया था। दक्षिण अफ्रीका में महात्मा गांधी के कारावास के बाद गठित ट्रांसवाल इंडियन एसोसिएशन के अध्यक्ष के रूप में कार्य किया था। कादम्बिनी ने 1915 के चिकित्सा सम्मेलन में कलकत्ता मेडिकल कॉलेज में महिला उम्मीदवारों को प्रवेश न देने की प्रथा के खिलाफ खुलकर विरोध किया था। 1898 में उनके पति की मृत्यु ने उन्हें सार्वजनिक जीवन से हटा दिया और उनके स्वास्थ्य को भी प्रभावित किया था। उनकी मृत्यु के एक साल पहले उन्होंने महिला खनन मजदूरों की मदद के लिए बिहार और उड़ीसा का दौरा किया था।

इसके बारेमे भी पढ़िए :- अभिनेत्री विधि पांड्या का जीवन परिचय
Kadambini Ganguly Death मृत्यु
उन्होंने अपनी मौत के दिन तक किसी भी मेडिकल कॉल को ठुकराया नहीं था। उनकी एक नियमित चिकित्सा कॉल से लौटने के बाद 7 अक्टूबर 1923 को उनकी मृत्यु हो गई थी। उन्हें हाई ब्लड प्रेसर की समस्या थी। फिरभी उन्होंने अपने कामो के बीच कभी नहीं आने दिया और लोगो के हितो के लिए काम किया था। और 62 साल की उम्र में कादम्बिनी गांगुली ने दुनिया को अलविदा कह दिया था। महिलाओं की शिक्षा और अधिकारों की हिमायती होने के नाते कादम्बिनी गांगुली को कभी भुलाया नहीं जा सकेगा। क्योकि समाज के विरोध करने के बाद भी उन्होंने अपने मुकाम को हासिल किया था।
Kadambini Ganguly Criticism आलोचना
उन्होंने अपने समय में महिलाओ को शिक्षित करने के लिए कदम बढ़ाए थे। उसका महिला मुक्ति का विरोध करने वाले तत्कालीन रूढ़िवादी समाज ने काफी जमकर आलोचना की थी। पढाई करके भारत लौटने और महिलाओं के अधिकारों के लिए लगातार अभियान चलाने के लिए उन्हें परोक्ष रूप से बंगबाशी पत्रिका में वेश्या जैसे ख़राब शब्दों प्रयोग किया जाता था। फिरभी उन्होंने अपने संकल्प को नहीं रोक और पति द्वारकानाथ गांगुली ने मामले को अदालत में ले लिया और बाद में संपादक महेश पाल को 6 महीने की जेल हुई थी।
Kadambini Ganguly on TV
कादंबिनी गांगुली की जीवनी पर आधारित एक टेलीविजन सीरियल बंगाली भाषा में प्रोथोमा कादम्बिनी को मार्च 2020 से स्टार जलशा पर प्रसारण किया जा रहा है। उसका किरदार में सोलंकी रॉय और हनी बाफना निभाते हैं। आपको बतादे की वह Hotstar पर भी उपलब्ध है। Zee Bangla में उषासी रे, अभिनीत कादम्बिनी (2020) नाम की दूसरी बंगाली श्रृंखला भी प्रसारण होती है।
इसके बारेमे भी पढ़िए :- अभिनेता विशाल कोटियन का जीवन परिचय
Kadambini Ganguly History In Hindi Video
Interesting Facts अज्ञात तथ्य
- कादंबिनी गांगुली स्वतंत्रता आंदोलन में भी सक्रिय रहीं थी।
- उन्होने भारत की पहली महिला ग्रेजुएट होने का गौरव हासिल किया था।
- कादम्बिनी गांगुली का जन्म 18 जुलाई, 1861 को बिहार के भागलपुर में हुआ था।
- कादंबिनी गांगुली कलकत्ता के उच्च वर्ग से संबंध रखतीं थी।
- वह भारत की पहली महिला स्नातक और पहली महिला फ़िजीशियन थीं।
- कादम्बिनी गांगुली के रूप में 19वीं सदी में ही भारत को पहली महिला डॉक्टर मिल गई थी।
- कादम्बिनी गांगुली ने 1882 में कोलकाता विश्विधालय से स्नातक की परीक्षा उत्तीर्ण की थी।
- कठिन परिस्थितियों में उन्होंने शिक्षा के क्षेत्र में कामयाबी हासिल की थी।
- 18 जुलाई को कादम्बिनी गांगुली की जयंती मनाई जाती है।
- कादम्बनी का विवाह ब्रह्मा समाज के द्वारकानाथ गंगोपाध्याय के साथ हुआ था।
FAQ
Q .कादंबिनी गांगुली कौन थी?
कादंबिनी गांगुली भारत देश की पहली महिला स्नातक और पहली महिला फ़िजीशियन थी।
Q .कादंबिनी गांगुली क्यों प्रसिद्ध हैं?
पहली महिला स्नातक और पहली महिला फ़िजीशियन के लिए कादंबिनी गांगुली प्रसिद्ध हैं।
Q .कादंबिनी गांगुली के पति का क्या नाम था?
कादंबिनी गांगुली के पति का नाम द्वारकानाथ गांगुली था।
Q .कादंबिनी गांगुली की मृत्यु कब हुई थी?
कादंबिनी गांगुली की मौत 3 अक्टूबर 1923 ब्लड प्रेस्सर के कारण हुई थी।
Q .कादंबिनी गांगुली की मृत्यु क्यों हुई?
कादंबिनी गांगुली की मृत्यु ब्लड प्रेस्सर के कारण हुई थी।
Q .क्या कादंबिनी गांगुली एमबीबीएस थीं?
कादम्बिनी गांगुली पहली भारतीय महिला डॉक्टरों में से एक थीं।
Conclusion
आपको मेरा Kadambini Ganguly Biography बहुत अच्छी तरह से समज आया होगा।
लेख के जरिये हमने Kadambini Ganguly husband, Kadambini Ganguly quotes
और Kadambini Ganguly contribution से सम्बंधित जानकारी दी है।
अगर आपको अन्य अभिनेता के जीवन परिचय के बारे में जानना चाहते है। तो कमेंट करके जरूर बता सकते है।
! साइट पर आने के लिए आपका धन्यवाद !
अगर आपको यह पोस्ट पसंद आया हो तो इसे अपने दोस्तों को जरूर शेयर करें !
Note
आपके पास Kadambini Ganguly birthday की कोई जानकारी हैं, या दी गयी जानकारी मैं कुछ गलत लगे तो । तो तुरंत हमें कमेंट और ईमेल मैं लिखे हम इसे अपडेट करते रहेंगे धन्यवाद
Google Search
कादम्बिनी पत्रिका, आनंदीबाई जोशी, चंद्रमुखी बसु, कादम्बिनी का अर्थ, प्रथम महिला स्नातक प्रतिष्ठा, कोलकाता मेडिकल कॉलेज, Dr Kadambini Ganguly, Dwarkanath ganguly, Kadambini Ganguly movie, Kadambini Ganguly wikipedia, Kadambini Ganguly pdf, Kadambini Ganguly upsc, prabhat chandra son of kadambini ganguly, cricbuzz, Kadambini Ganguly in hindi
इसके बारेमे भी पढ़िए :- अहिल्याबाई होल्कर का जीवन परिचय, इतिहास, कहानी